iPhone 16 Pro Max खरीदने की सोच रहे हैं? ट्रंप का नया टैरिफ लगा सकता है ₹30,000 का झटका

अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति के आयात शुल्क से बढ़ सकती हैं कीमतें, भारत में भी पड़ेगा सीधा असर
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अगर आप Apple के लेटेस्ट फ्लैगशिप स्मार्टफोन, iPhone 16 Pro Max का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं, तो यह खबर आपके लिए थोड़ी निराशाजनक हो सकती है। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लगाए गए नए आयात शुल्क (टैरिफ) के कारण इस फोन की कीमत में भारी इजाफा देखने को मिल सकता है, जो कि ₹30,000 तक हो सकता है। विश्लेषकों का मानना है कि इस बढ़ी हुई लागत का सीधा असर ग्राहकों की जेब पर पड़ेगा और iPhone खरीदना पहले से कहीं ज्यादा महंगा साबित हो सकता है। आइए जानते हैं इस टैरिफ वॉर का आपके स्मार्टफोन बजट पर क्या असर पड़ेगा।READ ALSO:-Samsung Galaxy S25 Edge: लॉन्च से पहले कीमत और फीचर्स लीक, जानें क्या होगा खास

 

रिपोर्ट्स के अनुसार, अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लगाए गए नए टैरिफ के चलते Apple को अपने iPhone 16 Pro Max की कीमत में $350 तक की बढ़ोतरी करनी पड़ सकती है, जो भारतीय मुद्रा में लगभग ₹29,000 के बराबर है। UBS के विश्लेषकों का अनुमान है कि चीन में निर्मित iPhone पर लगभग 30 प्रतिशत तक की कीमत बढ़ सकती है। वर्तमान में iPhone 16 Pro Max की शुरुआती कीमत $1,199 (भारत में लगभग ₹1 लाख) है, जो टैरिफ के बाद बढ़कर $1,549 (लगभग ₹1 लाख 30 हजार) तक पहुंच सकती है।

 


ट्रंप सरकार ने हाल ही में चीन और कुछ अन्य देशों से आयातित वस्तुओं पर नए टैक्स (टैरिफ) लगाए हैं। चीन से आने वाले सामान पर 34% और भारत से आने वाले सामान पर 26% टैक्स लगने से Apple कंपनी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं, क्योंकि उनके अधिकांश उत्पाद चीन में ही निर्मित होते हैं। अब Apple के सामने यह दुविधा है कि इस बढ़ी हुई लागत का कितना बोझ वह अपने ग्राहकों पर डाले, यानी उत्पादों की कीमतें बढ़ाए, और कितना खर्च खुद वहन करे। UBS के विशेषज्ञ सुंदरप गंटोरी ने भी इसी बात पर जोर दिया है।

 


उत्पादन के स्थान में बदलाव भी कीमतों को प्रभावित कर सकता है। यदि Apple अपने उत्पादों को चीन की बजाय भारत जैसे देशों में बनाना शुरू करता है, तो भी iPhone 16 Pro की कीमत में लगभग ₹10,000 (यानी $120) तक की वृद्धि देखने को मिल सकती है। हालांकि, अगर Apple अमेरिका में ही iPhone का निर्माण शुरू करता है, तो इसकी कीमत आसमान छू सकती है और लगभग ₹2.9 लाख (यानी $3,500) तक पहुंच सकती है, जो आम उपभोक्ताओं के लिए इसे खरीदना लगभग असंभव बना देगा।

 

JPMorgan और Barclays जैसे विशेषज्ञों का मानना है कि यदि Apple कीमतों में वृद्धि नहीं करता है, तो कंपनी के मुनाफे में 15% तक की भारी गिरावट आ सकती है। इसका सीधा मतलब है कि Apple के पास दो ही विकल्प हैं: या तो उत्पादों को महंगा करें या फिर अपने लाभ के मार्जिन को कम करें।

 

इस अनिश्चितता के माहौल का असर Apple के बाजार मूल्य पर भी दिखाई दे रहा है। हाल ही में, कंपनी के बाजार पूंजीकरण में सिर्फ तीन दिनों के भीतर $640 अरब (लगभग ₹53 लाख करोड़) की भारी गिरावट दर्ज की गई है। इसके अलावा, ट्रंप ने चीन पर टैरिफ को और बढ़ाकर 54% तक करने की चेतावनी दी है, जिससे स्थिति और भी खराब हो सकती है। निवेशकों को इस बात की चिंता है कि अगर Apple ने iPhone की कीमतें बढ़ाईं तो ग्राहकों की संख्या में कमी आ सकती है, और अगर कीमतें नहीं बढ़ाईं तो कंपनी को भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है। अब Apple के लिए यह एक बड़ी रणनीतिक चुनौती बन गई है कि वह अपनी कमाई को बचाए रखे या फिर अपने ग्राहक आधार को।

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