कठुआ हमला: 'भारत माता की जय' के नारों के साथ पहुंचा शहीद विनोद सिंह का पार्थिव शरीर, 'बेटे को छूने दो..' मां का ये वीडियो इमोशनल कर देगा
शहीद विनोद सिंह का पार्थिव शरीर अठुरावाला स्थित उनके आवास पर लाया गया। शहीद विनोद सिंह का अंतिम संस्कार बुधवार को पूर्णानंद घाट ऋषिकेश में किया जाएगा। पार्थिव देह के दोनों और लोगों का भारी हुजूम था। वहीं उनकी मां का भी रो-रोकर बुरा हाल था। आपको बता दें कि अठुरावाला निवासी नायक विनोद सिंह भंडारी जम्मू के कठुआ जिले में हुए आतंकी हमले में शहीद हो गए थे। पिछले 7 सालों से उनका पूरा परिवार डोईवाला के अठुरावाला में रह रहा था।
Updated: Jul 10, 2024, 12:38 IST
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जम्मू के कठुआ में कुछ दिन पहले हुए आतंकी हमले में देश ने अपने 5 वीर जवानों को खो दिया था। जबकि इस हमले में 5 जवान घायल हुए थे। सेना फिलहाल आतंकियों की तलाश में सर्च ऑपरेशन चला रही है। वहीं शहीदों के पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव पहुंच गए हैं। इस हमले में भानियावाल निवासी लांस नायक शहीद विनोद सिंह भी शहीद हो गए थे। लांस नायक विनोद सिंह का पार्थिव शरीर जैसे ही उनके गांव पहुंचा तो ग्रामीणों की आंखें नम हो गईं। क्षेत्र के लोगों ने उन्हें नम आंखों से अंतिम विदाई दी। शहीद की मां का रो-रोकर बुरा हाल था। वह एक बार अपने बेटे के पार्थिव शरीर को छूना चाहती थीं, जबकि परिवार के अन्य सदस्य उन्हें ढांढस बंधाने की कोशिश कर रहे थे। READ ALSO:-Video : रील बनाने का शौक पड़ा महंगा, BHU के गेट पर मिर्जापुर के कालीन भैया स्टाइल में उड़ा रहे थे सिगरेट का धुआं, दो गिरफ्तार
मां की पीड़ा भरी आवाज से उत्तराखंड की वादियां सन्नाटे में डूब गईं। अंतिम यात्रा में मौजूद हर शख्स की आंखें उस मां की हालत देख नम हो गईं। जिस मां ने 9 महीने तक अपने बेटे को कोख में पाला था। वह यह स्वीकार नहीं कर पा रही थी कि उसका बेटा इस तरह दुनिया से चला जाएगा। वह एक मां है, इसलिए उसे अपने बेटे के जाने का दुख तो हुआ लेकिन वह जानती है कि उसके बेटे का बलिदान देश के लिए समर्पण और बलिदान है। उसके लिए वह जीने का एकमात्र सहारा था। कुछ महीने पहले ही घर में लक्ष्मी आई थी। विनोद सिंह अपने पीछे 4 साल का बेटा भी छोड़ गए हैं। अब उस मां की एक मात्र उम्मीद वो 4 साल का बेटा है जिसे विनोद सिंह छोड़ गए हैं।
कठुआ आतंकी हमले में शहीद हुए लांसनायक विनोद सिंह का पार्थिक देह उनके पैतृक गांव पहुंचा, जहां लोगों ने उनको अंतिम विदाई दी। pic.twitter.com/dYE1pMfkbQ
— Rakesh chaudhari (@Rakeshchau58578) July 10, 2024
हर साल ऐसे हमलों में कितनी ही मांओं की कोख उजड़ जाती है। इस हादसे में जान गंवाने वाले सभी शहीदों के आश्रितों की एक ही मांग है कि सरकार आतंकियों को ढूंढकर उन्हें जहन्नुम भेजे। आपको बता दें कि शहीद विनोद सिंह ऋषिकेश जिले के जाखणीधार ब्लॉक के चांद जसपुर के रहने वाले थे। ग्राम प्रधान कीर्ति सिंह कुमाई ने बताया कि शहीद विनोद सिंह 10वीं गढ़वाल राइफल्स में तैनात थे। वर्तमान में उनका परिवार देहरादून में रहता है। विनोद 2011 में सेना में भर्ती हुए थे। वह घर में इकलौते बेटे थे। उनका एक 4 साल का बेटा और एक 4 महीने की बेटी है।
अपने परिवार का इकलौता बेटा
विनोद सिंह मूल रूप से ग्राम चौंड, पोस्ट-खंडोगी खास पट्टी टिहरी गढ़वाल के निवासी थे। पिछले 7 सालों से उनका पूरा परिवार अठुरावाला, डोईवाला में रह रहा है। शहीद विनोद सिंह के पिता वीर सिंह भंडारी और चाचा शूरवीर सिंह भी सेना की बंगाल इंजीनियरिंग विंग से सेवानिवृत्त हैं। विनोद सिंह अपने परिवार का इकलौता बेटा था। उसके अलावा उसकी तीन बहनें हैं। जिनकी शादी हो चुकी है।
विनोद सिंह तीन महीने पहले ही अपने घर अठुरावाला आए थे। जहां उनकी पत्नी ने उनके घर एक बेटी को जन्म दिया। जो फिलहाल तीन महीने की है। विनोद सिंह के बलिदान की खबर सुनकर इलाके में मातम पसरा हुआ है। साथ ही दूर-दूर से लोग उनके घर पहुंचकर अपनी संवेदनाएं व्यक्त कर रहे हैं।
