Kiren Rijiju: किरण रिजिजू से वापस लिया गया कानून मंत्रालय, अर्जुन राम मेघवाल अब होंगे नए कानून मंत्री

केंद्र की मोदी सरकार में अलग-अलग विभागों की जिम्मेदारी संभाल चुके किरण रिजिजू से कानून मंत्रालय वापस ले लिया गया है।  बताया गया है कि इस मंत्रालय की जिम्मेदारी अब अर्जुन राम मेघवाल को सौंपी गई है। 
 
केंद्रीय कैबिनेट मंत्री किरण रिजिजू का मंत्रालय बदल दिया गया है। उनकी जगह अर्जुन राम मेघवाल को कानून मंत्रालय की जिम्मेदारी दी गई है। रिजिजू को अर्थ साइंस मंत्रालय सौंपा गया है। अर्जुन राम मेघवाल को कानून राज्य मंत्री (Independent Charge) बनाया गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मंत्रिमंडल में ये बड़ा फेरबदल है। आपको बता दें कि किरण रिजिजू और सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम के बीच लंबे समय से तनाव चल रहा था। दोनों के बीच बयानबाजी भी हुई। कानून मंत्री के इस व्यवहार से सुप्रीम कोर्ट भी नाराज हो गया था। किरेन रिजिजू ने मंत्रालय बदलने के तुरंत बाद अपना ट्विटर बायो बदल दिया है।READ ALSO:-कर्नाटक में सिद्धारमैया होंगे मुख्यमंत्री, डीके शिवकुमार होंगे डिप्टी CM, डीके बोले- पार्टी हित में सहमति,

 


किरण रिजिजू ने बार-बार कहा था कि जजों का चुनाव कॉलेजियम के जरिए नहीं होना चाहिए। जबकि सुप्रीम कोर्ट ने साफ कर दिया था कि जजों की नियुक्ति के लिए इससे बेहतर तरीका कोई नहीं हो सकता। सुप्रीम कोर्ट ने भी तब कहा था कि कई देशों में इसी तरह का तरीका अपनाया जा रहा है। पहली बार दोनों के बीच तनाव तब खुलकर सामने आया जब सौरभ कृपाल का मामला सामने आया। सौरभ कृपाल को सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम द्वारा दिल्ली उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में नियुक्त किया गया था। लेकिन कानून मंत्रालय ने उनकी फाइल को मंजूरी नहीं दी. सौरभ कृपाल गे हैं लेकिन उन्होंने इस बात को कभी नहीं छुपाया।


किरण रिजिजू ने एक बयान में कहा था कि हम जनता से चुनकर आते हैं। वापस जब पांच साल बाद चुनाव होते हैं तो हमें जनता को जवाब देना होता है, लेकिन जजों के सामने ऐसा नहीं होता। वहीं कांग्रेस नेता अलका लांबा ने सरकार पर हमला बोला है। उन्होंने ट्वीट किया है कि न्यायाधीशों की नियुक्ति और अदालतों के काम करने के तरीके को लेकर कानून मंत्री के रूप में किरण रिजिजू द्वारा की गई टिप्पणियों और हस्तक्षेप ने मोदी सरकार के लिए मुश्किलें खड़ी कर दी थीं, सरकार ने अपनी छवि बचाने के लिए कानून मंत्री की बलि देकर अच्छा किया।

 

 

कांग्रेस बोली- सरकार ने छवि बचाने के लिए कानून मंत्री की बलि दे दी
कांग्रेस की अलका लांबा ने कहा, "न्यायाधीशों की नियुक्तियों और अदालतों पर रिजिजू की टिप्पणियों ने मोदी सरकार के लिए मुश्किलें खड़ी कर दी थीं। सरकार ने अपनी छवि बचाने के लिए कानून मंत्री की बलि देकर अच्छा किया।"

 

अब जानिए कौन हैं अर्जुनराम मेघवाल
IAS की नौकरी छोड़कर राजनीति में आए अर्जुनराम मेघवाल बीकानेर से लोकसभा सांसद हैं। 2009 में, अर्जुन राम को बीकानेर से भारतीय जनता पार्टी के संसद सदस्य के रूप में चुना गया था। मेघवाल ने 2 जून 2009 को संसद सदस्य के रूप में शपथ ली। 2014 में, उन्हें 16वीं लोकसभा के लिए फिर से चुना गया। 2019 के लोकसभा चुनाव में मेघवाल बीकानेर से लगातार तीसरी बार सांसद चुने गए थे। सरकार ने उन्हें एक कार दी है, लेकिन वह साइकिल से संसद जाना पसंद करते हैं।