मेरठ : जालसाजों ने खुद को बताया IPS-CBI का अधिकारी, और युवक को किया डिजिटल अरेस्ट, ठग लिए 11 लाख   

उत्तर प्रदेश के मेरठ में साइबर अपराध के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। यहां शुक्रवार को साइबर अपराधियों ने एक युवक को उसके ही घर में 24 घंटे से अधिक समय तक डिजिटल नजरबंद रखा। पुलिस ने इस मामले में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
 
उत्तर प्रदेश के मेरठ में साइबर ठगी का सनसनीखेज मामला सामने आया है। जहां एक युवक को तकनीक का इस्तेमाल कर उसके ही घर में 24 घंटे तक डिजिटल तरीके से बंधक बनाकर रखा गया। इसके बाद उसके खाते से 11 लाख रुपये भी ठग लिए गए। पीड़ित ने मामले की शिकायत साइबर पुलिस से की है। साइबर क्राइम का यह बड़ा मामला पुलिस अफसरों के लिए चुनौती बन गया है। पुलिस ने केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है।READ ALSO:-UP : महिला चोर गिरोह, दिन में कूड़ा बीनने के बहाने करती थी रेकी, रात में हथियारों के बल पर लूटपाट; डॉक्टर के घर की वारदात

 

दौराला के सरस्वती कॉलोनी निवासी किरनपाल पुत्र हुकुम सिंह ने बताया कि 23 मई को उसके बैंक खाते में प्रोविडेंट फंड की रकम आई थी। 25 मई को उसके पास सुनील कुमार गौतम नाम के व्यक्ति का फोन आया। उसने खुद को आईपीएस और सीबीआई अधिकारी बताया। इसके बाद उसके खाते से आतंकियों को फंडिंग करने समेत कई आरोप लगाकर उसे डराया। आरोपी ने पीड़ित के व्हाट्सएप पर भारत सरकार के लोगो के साथ तीन पत्र भेजे। परिवार को जिंदगी भर जेल में रखने की धमकी दी। इसके बाद उसे शाम को अकेले कमरे में बंद रहने के लिए मजबूर कर दिया। इस दौरान उसे लगातार फोन चालू रखने को कहा गया। उसे किसी और से बात करने से मना किया गया।

 

अगली सुबह उसने फिर से खुद को सीबीआई अधिकारी बताकर दूसरे आरोपी से बात कराई। उस व्यक्ति ने भी उसे खूब धमकाया। इसके बाद उसने एक बैंक खाते में 10 लाख रुपये और दूसरे बैंक खाते में एक लाख रुपये जबरन ट्रांसफर करा लिए। करीब 24 घंटे बाद वह साइबर अपराधियों की डिजिटल गिरफ्त से छूट गया।

 

एक अन्य मामले में साइबर ठगों ने बैंक कर्मचारी बनकर सरधना क्षेत्र के अटेरना गांव निवासी युवक से फोन पर ओटीपी पूछकर खाते से 6.29 लाख रुपये निकाल लिए। पीड़ित विनोद कुमार ने साइबर क्राइम थाने में रिपोर्ट दर्ज कराते हुए बताया कि 14 मई को उसके पास एक कॉल आई।

 

कॉल करने वाले ने खुद को बैंक अधिकारी बताते हुए उसके मोबाइल पर आए ओटीपी को पूछ लिया। आरोपी के झांसे में आकर पीड़ित ने ओटीपी बता दिया। 6 जून को जब वह बैंक से पैसे निकालने गया तो उसे पता चला कि उसके खाते से 14 मई को ही 6.29 लाख रुपये निकल चुके हैं।

 

परीक्षितगढ़ में एक और ऐसा ही मामला सामने आया है। दुबई में ड्राइवर का काम करने वाले युवक की पत्नी का मोबाइल हैक कर साइबर जालसाज 10 लाख रुपये मांग रहे हैं। आरोपी सोशल मीडिया पर फर्जी आईडी बनाकर पीड़ित की पत्नी के फोटो वायरल कर रहा है। युवक परीक्षितगढ़ क्षेत्र के एक गांव का रहने वाला है। उसने बताया कि वह दुबई में ड्राइवर का काम करता है।

 

पत्नी गांव में ही रहती है। किसी ने उसकी पत्नी के मोबाइल से डाटा चुरा लिया है। आरोपी पीड़ित की पत्नी के फोटो डिलीट करने के बदले 10 लाख रुपये मांग रहा है। आरोपी से परेशान होकर पीड़ित को भारत आना पड़ा। साइबर क्राइम थाना पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।