Noida : महंगे शौक और अय्याशी के लिए इंजीनियर बेटे ने खुद की करवाई किडनेपिंग, पिता से मांगी 50 लाख की फिरौती, फिर ऐसे खुला भेद
उत्तर प्रदेश के नॉएडा में टाटा कंसल्टेंसी के एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर ने जब अपनी कमाई से अपनी ख्वाहिशें पूरी नहीं की तो उसने खुद के अपहरण की साजिश रची। आरोपी ने रेवाड़ी में अपने दोस्तों के साथ एक होटल में कमरा बुक किया और ग्वालियर में रहने वाले अपने पिता को फोन करके 50 लाख रुपए की फिरौती मांगी।
Sep 18, 2024, 14:15 IST
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कमाई से जब शौक पूरे नहीं हुए तो टाटा कंसल्टेंसी के सॉफ्टवेयर इंजीनियर ने अपने ही अपहरण की साजिश रच दी। यहां टीसीएस जैसी कंपनी में काम करने वाले एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर को शराब और लड़कियों की लत लग गई और उसकी खुद की कमाई भी कम पड़ने लगी। उसने अपने दोस्तों के साथ मिलकर खुद के अपहरण की साजिश रची और अपने ही पिता से 50 लाख रुपये की फिरौती मांगी। हालांकि मोल-तोल के बाद 15 हजार रुपये में सौदा तय हो गया।READ ALSO:-बिजनौर : नाबालिग बच्चियों से रेप के आरोपी को 40 साल की कैद, कोर्ट ने एक लाख 20 हजार का लगाया जुर्माना, पीड़ित बच्चियों ने रोते हुए की थी पहचान
डील के मुताबिक आरोपी के दोस्त इंजीनियर के पिता के पास पैसे लेने भी पहुंचे, लेकिन वहां पुलिस मौजूद थी। इसके बाद जब पूरा मामला खुला तो इंजीनियर के पिता भी हैरान रह गए। नोएडा के एक्सप्रेसवे थाना पुलिस के मुताबिक टीसीएस कंपनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर शुभम के पिता ने उसकी गुमशुदगी दर्ज कराई थी। पुलिस उसकी तलाश कर रही थी, तभी शुभम के पिता ने अपहरणकर्ताओं द्वारा फिरौती मांगे जाने की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि 50 लाख रुपये की मांग की गई है।
सौदेबाजी 50 लाख से घटकर 15 हजार पर आई
पुलिस ने उन्हें सौदेबाजी करते रहने की सलाह दी। शुभम के पिता ने सौदेबाजी शुरू की तो 24 घंटे में मामला 50 लाख से घटकर 15 हजार रुपये पर आ गया। इसके बाद सौदेबाजी की जगह तय हुई। शुभम के पिता मौके पर पहुंचे और अपहरणकर्ता भी पैसे लेने आ गया।
पुलिस ने उन्हें सौदेबाजी करते रहने की सलाह दी। शुभम के पिता ने सौदेबाजी शुरू की तो 24 घंटे में मामला 50 लाख से घटकर 15 हजार रुपये पर आ गया। इसके बाद सौदेबाजी की जगह तय हुई। शुभम के पिता मौके पर पहुंचे और अपहरणकर्ता भी पैसे लेने आ गया।
चूंकि मामला पुलिस की जानकारी में था, इसलिए पुलिस भी कुछ दूरी पर खड़ी थी। पुलिस ने मौके से एक युवक को गिरफ्तार किया और थाने लाकर उसकी कुछ खातिरदारी की तो युवक ने बताया कि वह तो महज मोहरा है। इस वारदात का मास्टरमाइंड खुद शिकायतकर्ता का बेटा है।
लग गई थी डेटिंग की लत
इसके बाद पुलिस टीम आरोपियों की निशानदेही पर रेवाड़ी पहुंची। वहां आरोपी अपने एक दोस्त के साथ मौजूद था। पुलिस इन तीनों को गिरफ्तार कर थाने ले आई। यहां इंजीनियर से पूछताछ की गई तो उसने बताया कि वह शराब तो पहले से ही पीता था, अब उसे डेटिंग की लत लग गई थी। उसकी कई लड़कियों से दोस्ती हो गई थी। ऐसे में उसकी खुद की सैलरी कम पड़ने लगी। ऐसे में उसने अपने पिता से कुछ पैसे ऐंठने की साजिश रची। इस तरह आरोपी ने अपने दोस्तों को बुलाकर इस साजिश को अंजाम दिया।
इसके बाद पुलिस टीम आरोपियों की निशानदेही पर रेवाड़ी पहुंची। वहां आरोपी अपने एक दोस्त के साथ मौजूद था। पुलिस इन तीनों को गिरफ्तार कर थाने ले आई। यहां इंजीनियर से पूछताछ की गई तो उसने बताया कि वह शराब तो पहले से ही पीता था, अब उसे डेटिंग की लत लग गई थी। उसकी कई लड़कियों से दोस्ती हो गई थी। ऐसे में उसकी खुद की सैलरी कम पड़ने लगी। ऐसे में उसने अपने पिता से कुछ पैसे ऐंठने की साजिश रची। इस तरह आरोपी ने अपने दोस्तों को बुलाकर इस साजिश को अंजाम दिया।
इंजीनियर अमीर परिवार से है
चूंकि उसके दोस्त भी कर्ज से परेशान थे, इसलिए उन्होंने भी सोचा कि बिना कुछ किए कुछ पैसे मिल जाएंगे और वे इस साजिश में शामिल हो गए। पुलिस के मुताबिक आरोपी युवक शुभम टीसीएस में इंजीनियर है, जबकि उसके पिता ग्वालियर में केबल नेटवर्क का कारोबार करते हैं। उसके चाचा के कई रेस्टोरेंट हैं और दादा रजिस्ट्रार के पद से रिटायर हैं।
चूंकि उसके दोस्त भी कर्ज से परेशान थे, इसलिए उन्होंने भी सोचा कि बिना कुछ किए कुछ पैसे मिल जाएंगे और वे इस साजिश में शामिल हो गए। पुलिस के मुताबिक आरोपी युवक शुभम टीसीएस में इंजीनियर है, जबकि उसके पिता ग्वालियर में केबल नेटवर्क का कारोबार करते हैं। उसके चाचा के कई रेस्टोरेंट हैं और दादा रजिस्ट्रार के पद से रिटायर हैं।
बाकी दो आरोपी संदीप और अंकित हरियाणा के सिलारपुर गांव के रहने वाले हैं। पुलिस के मुताबिक आरोपियों में से एक अंकित सेना का जवान है और फिलहाल वह कुपवाड़ा में तैनात था, लेकिन अब उसका तबादला अजमेर हो गया है। अजमेर में ज्वाइन करने से पहले ही वह इस वारदात में शामिल हो गया।