मेरठ के सोहराब गेट डिपो समेत UP रोडवेज के चार और डिपो निजी कंपनियों को सौंपे गए, मुख्यालय डिपो भी शामिल

 उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम ने बुधवार को प्रदेश के चार और डिपो निजी हाथों में सौंप दिए। अब प्रदेश के 19 डिपो का काम निजी फर्म संभालेंगी। नोएडा डिपो पहले ही निजी फर्म को सौंप दिया गया था।
 
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम ने बुधवार को प्रदेश के चार और डिपो निजी हाथों में सौंप दिए। अब प्रदेश के 19 डिपो का काम निजी फर्म संभालेंगी। नोएडा डिपो पहले ही निजी फर्म को सौंपा जा चुका था। अब उत्तर प्रदेश के सभी 20 मंडलों में एक-एक डिपो का काम आउटसोर्स कंपनियों को सौंप दिया गया है। कुल मिलाकर उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के 20 डिपो निजी हाथों में हैं। इन डिपो में परिवहन निगम मुख्यालय की दीवार के पीछे अवध डिपो भी शामिल है। READ ALSO:-बिजनौर : अफजलगढ़ में मछली पकड़ते समय तालाब में डूबने से 21 वर्षीय युवक की मौत, परिवार में मचा कोहराम

 

उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के चार और डिपो सोमवार को निजी कंपनियों को सौंप दिए गए। इनमें मेरठ का सोहराब गेट डिपो, सहारनपुर मंडल का छुटमलपुर डिपो, अलीगढ़ मंडल का एटा डिपो और कानपुर मंडल का विकास नगर डिपो शामिल हैं। सोहराब गेट डिपो को मेसर्स टीकेजी ऑटोमोबाइल्स आगरा ने 5.7 पैसे प्रति किलोमीटर, छुटमलपुर डिपो को 4.96 रुपये प्रति किलोमीटर तथा एटा डिपो को 4.69 रुपये प्रति किलोमीटर की दर से लिया है। 

 

कानपुर के विकास नगर डिपो को मेसर्स जयपुर ऑटो रिपेयर सेंटर ने 5.17 पैसे प्रति किलोमीटर की दर से ठेके पर लिया है। परिवहन निगम के अधिकारियों ने बताया कि डिपो में बसों के रखरखाव का ठेका लेने वाली फर्मों को स्पेयर पार्ट्स, लेबर, यूरिया, लुब्रिकेंट, टायर व अन्य स्पेयर्स की व्यवस्था स्वयं करनी होगी। वर्कशॉप परिसर, डीजल व मरम्मत के लिए बसें परिवहन निगम उपलब्ध कराएगा। 

 

परिवहन निगम के प्रवक्ता अजीत सिंह ने बताया कि बसों के रखरखाव का ठेका जिन निजी फर्मों को दिया गया है, उन्होंने बहुत कम लागत पर बसों के रखरखाव की जिम्मेदारी ली है। इससे परिवहन निगम को घाटा नहीं होगा, बल्कि फायदा होगा। 

 

ये डिपो पहले ही हो चुके थे निजी
गौरतलब है कि इससे पहले परिवहन निगम ने 15 डिपो को निजी हाथों में सौंप दिया था। इनमें नजीराबाद डिपो, हरदोई डिपो, अवध डिपो, जीरो रोड डिपो, ताज डिपो, साहिबाबाद डिपो, बदायूं डिपो, इटावा डिपो, झांसी डिपो, कैंट डिपो, बांदा डिपो और बलरामपुर डिपो शामिल थे।