बिजनौर : मदरसा संचालक के बेटे ने छात्रा से की थी छेड़छाड़, SDM ने हॉस्टल और क्लासरूम किये सील, छात्रा ने जारी किया था वीडियो

मदरसे में पढ़ने वाली लड़की ने वीडियो जारी कर आरोप लगाए थे। जिसके बाद प्रपत्र पूरे न पाए जाने पर अल्पसंख्यक कल्याण विभाग ने कार्रवाई की। फिलहाल लड़की वन स्टॉप सेंटर में है और उसे सोमवार को बाल कल्याण समिति के समक्ष पेश होना है। काउंसलिंग के बाद लड़की को उसके परिजनों को सौंपने की प्रक्रिया पूरी की जाएगी।
 
उत्तर प्रदेश के बिजनौर शहर कोतवाली क्षेत्र स्थित एक मदरसे में मदरसा संचालक के डॉक्टर बेटे द्वारा छात्रा से छेड़छाड़ के मामले की राजस्व, अल्पसंख्यक विभाग और पुलिस की टीम ने जांच की। इसके बाद मदरसे के छात्रावास और कक्षाओं को सील कर दिया गया है। जांच के दौरान संचालक द्वारा टीम को आलिम कोर्स की मान्यता के कागजात न दिखाने पर यह कार्रवाई की गई है। READ ALSO:-मेरठ : पूर्व मंत्री हाजी याकूब कुरैशी के बेटे फिरोज फिर बढ़ी मुश्किले, धोखाधड़ी की रिपोर्ट दर्ज; इंस्पेक्टर और मुंशी सस्पेंड

 

जांच में यह भी पता चला कि मदरसे में बने छात्रावास में आसपास के जिलों की करीब 250 छात्राएं रहती हैं। इस पर अल्पसंख्यक कल्याण विभाग ने मदरसे में आलिम कोर्स द्वारा संचालित कक्षाओं और छात्रावास को भी सील कर दिया। 

 

दरअसल, बिजनौर शहर कोतवाली क्षेत्र के बुरहानुद्दीनपुर स्थित एक मदरसे में पढ़ने वाली मुजफ्फरनगर की एक छात्रा का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। जिसमें छात्रा ने मदरसा संचालक शाहनवाज के डॉक्टर बेटे नावेद पर छेड़छाड़ का आरोप लगाया था। पुलिस ने इस मामले में तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज कर आरोपी डॉक्टर नावेद को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। इस मामले में शिवसेना की ओर से लगातार मदरसे पर बुलडोजर चलाने की मांग की जा रही थी।

 

पीड़िता के परिवार ने कहा कि दुष्कर्म हुआ  
पीड़िता के पिता ने कहा कि मदरसे में उनकी बेटी के साथ दुष्कर्म हुआ, लेकिन पुलिस ने छेड़छाड़ की धाराओं में केस दर्ज किया है। तब से उनकी बेटी को वन स्टॉप सेंटर में रखा गया है। पुलिस परिवार को पीड़िता से मिलने भी नहीं दे रही है।

 

यह था मामला
मदरसे में पढ़ने वाली मुजफ्फरनगर की छात्रा का वीडियो प्रसारित हुआ था। इसमें छात्रा ने मदरसा संचालक शाहनवाज के बेटे नवीद उर्फ ​​उस्मान पर छेड़छाड़ का आरोप लगाया था। पुलिस ने केस दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया था। शनिवार को एसडीएम सदर मनोज कुमार के नेतृत्व में अधिकारियों ने बुरहानुद्दीनपुर में संचालित मदरसा जमीयतुल बनात दारुल उलूम को सील कर दिया। हॉस्टल में रहने वाली छात्राएं अपने माता-पिता के साथ घर चली गईं।

 

बंधक बनाने और धमकाने की धाराएं बढ़ाई गईं
एसपी अभिषेक झा ने बताया कि पीड़िता का मेडिकल परीक्षण कराया गया है। इसमें दुष्कर्म या मारपीट की पुष्टि नहीं हुई है। कोर्ट में भी बयान दर्ज कराए गए हैं। बयान में छेड़छाड़ का जिक्र किया गया है। कोर्ट के बयान के आधार पर मुकदमे में धमकी देने और बंधक बनाने की धाराएं जोड़ दी गई हैं। पीड़िता की शिकायत पर रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। शुरुआत में उसके माता-पिता नहीं आए। इसलिए उसे वन स्टॉप सेंटर भेज दिया गया। सोमवार को उसे बाल कल्याण समिति के समक्ष पेश किया जाएगा। काउंसलिंग के बाद ही किशोरी को उसके परिजनों को सौंपने की प्रक्रिया पूरी की जाएगी।