नैनीताल का महंगा स्वागत: अब हिल स्टेशन पर गाड़ी लाने के लिए चुकाएं 500 रुपये! जानिए किन लोगों के लिए लागू हुआ ये नियम
बढ़ी भीड़ से निपटने को प्रशासन का 'टोल प्लाजा' मॉडल, क्या कम होगा जाम का झाम?
Jul 3, 2025, 19:15 IST
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नैनीताल, उत्तराखंड: उत्तराखंड का स्वर्ग कहे जाने वाले नैनीताल की खूबसूरती अब आपकी जेब पर थोड़ी भारी पड़ने वाली है! पर्यटकों की बेतहाशा भीड़ और ट्रैफिक जाम से त्रस्त नैनीताल प्रशासन ने एक बड़ा फैसला लिया है। अब बाहरी राज्यों से अपने वाहन से नैनीताल आने वाले पर्यटकों को शहर में प्रवेश के लिए तगड़ा शुल्क चुकाना होगा। यह कदम न सिर्फ ट्रैफिक और पार्किंग के दबाव को कम करने का लक्ष्य रखता है, बल्कि नगर पालिका की आय बढ़ाने में भी सहायक होगा।READ ALSO:-मेरठ में गृहकर का 'झटका' या 'धोखा'? 2000 रुपए का बिल बना 3 लाख का, हजारों बिलों पर बवाल, निगम बोला- 'खुद तय करें अपना टैक्स'
जानिए कितने बढ़ गए हैं आपके खर्च
अगर आप दिल्ली, यूपी या किसी अन्य राज्य से अपनी कार लेकर नैनीताल आ रहे हैं, तो अब आपको 500 रुपये का प्रवेश शुल्क देना होगा। यह शुल्क पहले केवल 110 रुपये था। हालांकि, अगर आप स्मार्ट तरीके से भुगतान करते हैं तो आपको कुछ राहत मिल सकती है – ऑनलाइन भुगतान करने पर यह शुल्क 200 रुपये कम होकर 300 रुपये हो जाएगा।
अगर आप दिल्ली, यूपी या किसी अन्य राज्य से अपनी कार लेकर नैनीताल आ रहे हैं, तो अब आपको 500 रुपये का प्रवेश शुल्क देना होगा। यह शुल्क पहले केवल 110 रुपये था। हालांकि, अगर आप स्मार्ट तरीके से भुगतान करते हैं तो आपको कुछ राहत मिल सकती है – ऑनलाइन भुगतान करने पर यह शुल्क 200 रुपये कम होकर 300 रुपये हो जाएगा।
यह नियम केवल बाहरी राज्यों के वाहनों पर लागू नहीं होगा। नगर पालिका द्वारा जारी अधिसूचना के अनुसार, जिले में पंजीकृत चार पहिया वाहनों से 200 रुपये और दो पहिया वाहन चालकों से 100 रुपये लिए जाएंगे।
क्यों लिया गया यह सख्त फैसला?
नैनीताल, अपनी झीलों और पहाड़ों के लिए देशभर में मशहूर है। हर साल, खासकर पीक सीजन में, यहां लाखों पर्यटक पहुंचते हैं। इस साल भी अब तक दो लाख से ज़्यादा पर्यटक नैनीताल घूम चुके हैं। वाहनों की यह भारी संख्या अक्सर शहर की संकरी सड़कों पर भयंकर ट्रैफिक जाम और पार्किंग की किल्लत पैदा करती है। प्रशासन का मानना है कि यह बढ़ा हुआ शुल्क एक बाधक के रूप में काम करेगा, जिससे अनावश्यक वाहनों की संख्या नियंत्रित होगी।
नैनीताल, अपनी झीलों और पहाड़ों के लिए देशभर में मशहूर है। हर साल, खासकर पीक सीजन में, यहां लाखों पर्यटक पहुंचते हैं। इस साल भी अब तक दो लाख से ज़्यादा पर्यटक नैनीताल घूम चुके हैं। वाहनों की यह भारी संख्या अक्सर शहर की संकरी सड़कों पर भयंकर ट्रैफिक जाम और पार्किंग की किल्लत पैदा करती है। प्रशासन का मानना है कि यह बढ़ा हुआ शुल्क एक बाधक के रूप में काम करेगा, जिससे अनावश्यक वाहनों की संख्या नियंत्रित होगी।
इसका सीधा मकसद यह है कि लोग सार्वजनिक परिवहन या कम निजी वाहनों का उपयोग करें, जिससे नैनीताल की यातायात व्यवस्था सुचारु बनी रहे। साथ ही, इस शुल्क से मिलने वाला राजस्व नगर पालिका को शहर के बुनियादी ढांचे और सुविधाओं को बेहतर बनाने में मदद करेगा।
तो, अगली बार जब आप नैनीताल की ठंडी वादियों का लुत्फ उठाने का प्लान करें, तो अपनी यात्रा के बजट में इस नए प्रवेश शुल्क को जोड़ना न भूलें!
