मेरठ में यातायात जाम से मिलेगी राहत: शहर को मिलेंगे कई नए रास्ते, कनेक्टिविटी को मिलेगी नई दिशा

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तेजी से बढ़ते वाहनों के दबाव से जूझ रहे मेरठ शहर के लिए खुशखबरी है। कई नए मार्ग तलाशे गए हैं जो शहर के आवागमन की स्थिति को पूरी तरह से बदल देंगे। इनमें से कुछ निर्माणाधीन हैं, कुछ के लिए टेंडर जारी हो चुके हैं, और कुछ अभी प्रक्रिया में हैं। आइए, इन मार्गों के बारे में विस्तार से जानते हैं: READ ALSO:-मेरठ: 8 दिन से लापता महिला की मिली लाश, बोरे में बांधकर रजवाहे में फेंका था शव

 

निर्माणाधीन नए मार्ग: शुरू होते ही वाहनों की कतार होगी कम:-
  • दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे का पांचवां चरण:
    • राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) द्वारा निर्मित, इस चरण का कार्य इसी साल दिसंबर तक पूरा होने की उम्मीद है।
    • लाभ: इसके बनने से शास्त्रीनगर और मवाना की तरफ के लोगों के लिए नौ किलोमीटर की दूरी कम हो जाएगी और लगभग एक घंटे का समय बचेगा। इससे मेरठ के आधे हिस्से के साथ-साथ मवाना और बिजनौर के निवासियों को भी लाभ मिलेगा।
  • जैन नगर संपर्क मार्ग:
    • सार्वजनिक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) द्वारा निर्मित इस मार्ग का कार्य एक महीने में पूरा होने की उम्मीद है। इसके लिए शासन और मेडा (मेरठ विकास प्राधिकरण) से धनराशि प्रदान की गई थी।
    • लाभ: यह मार्ग दिल्ली रोड पर वाहनों के दबाव को कम करेगा। बागपत रोड से आने वाले वाहन रेलवे स्टेशन और कैंट की तरफ जाने के लिए इस मार्ग का उपयोग कर सकेंगे।
  • चार हाईवे को जोड़ने वाले कनेक्टर:
    • एनएचएआइ द्वारा निर्मित ये कनेक्टर मेरठ-बुलंदशहर-हापुड़ हाईवे, गढ़मुक्तेश्वर हाईवे, किला रोड/मवाना रोड (यानी नजीबाबाद हाईवे), और दिल्ली-देहरादून हाईवे को आपस में जोड़ेंगे। कार्य में देरी हुई है, लेकिन अगले साल जनवरी-फरवरी तक इनके पूर्ण होने की संभावना है।
    • लाभ: विभिन्न हाईवे से आने वाले वाहन जो दूसरे शहरों की ओर जा रहे हैं, वे शहर के बाहर से ही निकल जाएंगे। अब उन्हें शहर के अंदर के मार्गों पर आने की आवश्यकता नहीं होगी। यह एक तरह से शहर के लिए आउटर रिंग रोड का काम करेगा।
  • गगोल रोड से हापुड़ हाईवे तक नया बाईपास:
    • परतापुर से गगोल गांव के आगे सड़क की चौड़ाई कम होने के कारण वाहन नहीं जा पाते हैं। अब इस सड़क को गगोल गांव से चंदसारा होते हुए हापुड़ हाईवे तक जमीन अधिग्रहीत करके चौड़ा किया जा रहा है। पीडब्ल्यूडी द्वारा इसका शिलान्यास किया गया था। इस प्रकार, दो लेन का एक नया बाईपास उपलब्ध होगा।
    • लाभ: परतापुर और गगोल रोड से आने वाले अधिकांश वाहन इसी बाईपास से होते हुए हापुड़ हाईवे पर निकल जाएंगे। इससे दिल्ली रोड और बिजली बंबा बाईपास पर वाहनों का दबाव कम होगा।
  • कासिमपुर कंकरखेड़ा बाईपास:
    • लगभग दो किलोमीटर लंबा यह नया बाईपास आबूनाले की पटरी पर बनाया जा रहा है। इस पर 2.45 करोड़ रुपये की लागत आएगी और इसका निर्माण पीडब्ल्यूडी कर रहा है।
    • लाभ: वर्तमान में टीकाराम कॉलोनी और डिफेंस एन्क्लेव के अंदर की सड़कों पर वाहनों का दबाव रहता है। इस मार्ग के बनने से इन कॉलोनियों के अंदर वाहनों का आवागमन कम हो जाएगा और कई कॉलोनियों के रास्ते जाम से मुक्त हो जाएंगे।
इस नए मार्ग के लिए हुआ टेंडर: जल्द शुरू होगा निर्माण:-
  • चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय के पीछे बनेगी नई सड़क:
    • पीडब्ल्यूडी ने इसके लिए टेंडर जारी कर दिया है। इसके लिए धनराशि मेडा द्वारा उपलब्ध कराई गई है।
    • लाभ: किला परीक्षितगढ़ की तरफ से आने वाले और मवाना रोड से कमिश्नरी चौराहा तथा जेल चुंगी चौराहे से होते हुए गढ़ रोड को जाने वाले वाहनों के कारण कमिश्नरी चौराहे और जेल चुंगी चौराहे पर अक्सर जाम की समस्या रहती है। किला रोड को जेल रोड और यूनिवर्सिटी रोड से जोड़ने वाली यह नई सड़क बनने पर मवाना और किला परीक्षितगढ़ से आने-जाने वाले वाहन सीधे गढ़ रोड पर निकल जाएंगे। इससे कमिश्नर आवास चौराहा और जेल चुंगी पर वाहनों का दबाव काफी कम हो जाएगा। यह सड़क नाले की पटरी पर बनाई जाएगी।
ये नए मार्ग हैं प्रक्रिया में: जल्द दिखेगी प्रगति:-
  • रिंग रोड:
    • हापुड़ रोड से जुर्रानपुर फाटक, दिल्ली रोड, वेदव्यासपुरी होते हुए दून बाईपास तक रिंग रोड बनाने के लिए मेडा ने जमीन खरीदना शुरू कर दिया है। एक साल में निर्माण का लक्ष्य रखा गया है।
    • लाभ: इस रिंग रोड के बनने से बिजली बंबा बाईपास पर जाम कम होगा। दिल्ली रोड और हापुड़ रोड के वाहन एक-दूसरे पर जाने के लिए इस मार्ग का उपयोग आसानी से कर सकेंगे।
  • अब्दुल्लापुर बाईपास:
    • किला रोड पर बीएनजी स्कूल के पीछे से राली चौहान तक 1200 मीटर का एक नया बाईपास बनेगा। इसके लिए एक करोड़ रुपये स्वीकृत हो चुके हैं और पीडब्ल्यूडी इसका निर्माण करेगा।
    • लाभ: इस बाईपास के बनने से किला रोड और अब्दुल्लापुर की सड़कों पर वाहनों का दबाव कम होगा।
  • नार्थ रिंग रोड:
    • रुड़की रोड पर जटौली फाटक से मवाना रोड, किला रोड होते हुए गढ़ रोड तक रिंग रोड का निर्माण किया जाएगा। यह सड़क आबूनाला पटरी पर बनेगी। वर्तमान में इस नाला पटरी का ठीक से उपयोग नहीं हो पा रहा है। पीडब्ल्यूडी ने 96 करोड़ रुपये की संशोधित डीपीआर (विस्तृत परियोजना रिपोर्ट) शासन को भेजी है।
  • बच्चा पार्क एलिवेटेड रोड:
    • तहसील से बच्चा पार्क चौराहे तक एलिवेटेड रोड बनेगी। इसका निर्माण मेडा कराएगा और इसके लिए डीपीआर तैयार की जा रही है।
    • लाभ: इस एलिवेटेड रोड के बनने से बुढ़ाना गेट मार्ग, जली कोठी और घंटा घर मार्ग पर जाम कम होगा। इससे कलक्ट्रेट और कचहरी तक आना-जाना आसान हो जाएगा।
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निष्कर्ष
मेरठ शहर के लिए यह योजना न केवल ट्रैफिक प्रबंधन को बेहतर बनाएगी, बल्कि आर्थिक और सामाजिक गतिविधियों को भी गति देगी। जब ये सभी 10 मार्ग तैयार हो जाएंगे, तब मेरठ को एक नई और स्मार्ट ट्रैफिक पहचान मिलेगी।
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