मेरठ में मानसून का धमाकेदार आगमन: पहली मूसलाधार बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त, पर गर्मी से मिली राहत

 29 जून को निर्धारित समय पर पहुंचा मानसून, मौसम विभाग ने अगले कुछ दिनों तक अच्छी बारिश की जताई संभावना
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मेरठ, [30 June 2025]: कई दिनों से उमस भरी गर्मी से जूझ रहे मेरठ शहरवासियों के लिए आखिरकार राहत की फुहारें बरस पड़ी हैं, लेकिन मानसून की पहली मूसलाधार बारिश अपने साथ कुछ मुसीबतें भी लाई है। रविवार रात से शुरू होकर सोमवार सुबह तक लगातार जारी रही बरसात ने शहर के जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया। सुबह तक 120 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई, जिससे कई इलाकों में जलभराव और यातायात बाधित होने की ख़बरें मिलीं।READ ALSO:-मेरठ में स्कूल यूनिफॉर्म फैक्ट्री धराशायी: 25 साल पुरानी जर्जर इमारत गिरी, चौकीदार घायल; बड़ा हादसा टला

 

निर्धारित तिथि पर मेरठ पहुंचा मानसून, जुलाई की शुरुआत भी होगी तरबतर
मौसम विज्ञानियों के अनुसार, मेरठ में मानसून अपनी निर्धारित तिथि 29 जून को ही पहुंच गया था। रविवार को पूरे दिन आसमान में घने बादल छाए रहे और रात होते ही बारिश शुरू हो गई। यह बारिश शहरवासियों के लिए सुखद अनुभव तो लाई, लेकिन इसकी तीव्रता ने दैनिक गतिविधियों को प्रभावित किया।

 

सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि विश्वविद्यालय के मौसम केंद्र के प्रभारी डॉ. यूपी शाही ने बताया कि अरब सागर से नमी का प्रवाह बढ़ने और मानसून की ट्रफ रेखा के एनसीआर की ओर शिफ्ट होने के कारण दिल्ली, हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के उन क्षेत्रों में भी अब अच्छी बारिश की प्रबल संभावना है, जो अब तक सूखे थे। उन्होंने पुष्टि की कि मानसून ने एनसीआर और उत्तर प्रदेश के भागों में प्रवेश कर लिया है और अगले 24 घंटों में भी अच्छी बरसात होने की उम्मीद है।

 

मई में रिकॉर्ड तोड़ बारिश, जून रहा सूखा; अब होगी भरपाई की उम्मीद
मौसम के आंकड़ों पर नज़र डालें तो पिछले तीन सालों में जून में इस बार सबसे कम बरसात हुई है। जून में औसत रूप से 82 मिलीमीटर बारिश होती है, जबकि इस साल जून में केवल 65 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई, जो औसत से 21 प्रतिशत कम है। वहीं, मई के महीने ने सबको चौंका दिया था। मई में औसत 29 मिलीमीटर बारिश के मुकाबले इस बार 134 मिलीमीटर बरसात हुई, जो औसत से 4.5 गुना ज़्यादा थी। इससे पता चलता है कि मई में जहां रिकॉर्ड तोड़ बारिश हुई, वहीं जून का महीना गर्मी के लिहाज से ज़्यादा कष्टदायक रहा। पिछले सालों से तुलना करें तो वर्ष 2024 के जून में 77 मिलीमीटर और 2023 में 92 मिलीमीटर बारिश हुई थी।

 OMEGA

कुल मिलाकर, मेरठ में मानसून का आगमन भले ही अपने साथ कुछ शुरुआती परेशानियां लाया हो, लेकिन यह किसानों और आम जनता के लिए राहत की ख़बर है। अब उम्मीद है कि आने वाले दिनों में अच्छी बारिश से पानी की कमी पूरी होगी और मौसम सुहाना बना रहेगा। क्या यह मानसून इस साल पश्चिमी उत्तर प्रदेश की पानी की ज़रूरतें पूरी कर पाएगा?
SONU

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