मेरठ : पॉलिटेक्निक कॉलेज में छात्र का शव फंदे से लटका मिला, दोस्त बोले 24 घंटे से बंद था कमरा, पुलिस ने तोड़ा दरवाजा

उत्तर प्रदेश के सहारनपुर के राजकीय पॉलिटेक्निक कॉलेज में एक छात्र का शव पंखे से लटका मिला। छात्र गुरुवार रात से ही अपने हॉस्टल के कमरे में बंद था। अगले दिन जब वह क्लास में नहीं आया तो उसके कमरे की तलाशी ली गई। कमरे का दरवाजा अंदर से बंद था।
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उत्तर प्रदेश के सहारनपुर के राजकीय पॉलिटेक्निक कॉलेज में एक छात्र का शव पंखे से लटका मिला। छात्र गुरुवार रात से अपने हॉस्टल के कमरे में बंद था। अगले दिन जब वह क्लास में नहीं आया तो उसके कमरे की तलाशी ली गई। कमरे का दरवाजा अंदर से बंद था। जिसके बाद पुलिस और उसके परिजनों को सूचना दी गई। पुलिस ने परिजनों के सामने कमरे का दरवाजा तोड़ा। छात्र का शव पंखे से लटका हुआ था। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। लेकिन परिजन बिना पोस्टमार्टम कराए ही शव को अपने साथ ले गए। मामला रामपुर मनिहारान थाना क्षेत्र का है।READ ALSO:-मेरठ के इस बाईपास का शुरू होगा चौड़ीकरण का कार्य, चौड़ाई बढ़ाकर 12 से 14 मीटर तक की जाएगी; बीच में बनेगा डिवाइडर

 

कमरे में बंद रहा 24 घंटे तक 
मेरठ के मवाना के मीरापुर निवासी निशांत कुमार (21) सहारनपुर के राजकीय पॉलिटेक्निक में मॉडर्न ऑफिस मैनेजमेंट (एमओएम) का प्रथम वर्ष का छात्र था। गुरुवार रात करीब 8 बजे वह कॉलेज की मेस में खाना खाने के बाद अपने कमरा नंबर 10 में चला गया।

 

लेकिन शुक्रवार को वह पूरे दिन शिक्षकों और छात्रों को नजर नहीं आया। जिसके बाद शाम को हॉस्टल वार्डन डॉ. पंकज यादव देखने गए। लेकिन कमरा अंदर से बंद था। काफी खटखटाने के बाद भी दरवाजा नहीं खुला।

 

पुलिस ने दरवाजा तोड़कर शव को बाहर निकाला 
राजकीय पॉलीटेक्निक के प्राचार्य डॉ. विश्वास कुमार ने डायल-112 पर सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची। छात्र के पिता अशोक कुमार पेशे से वकील हैं। जिसके चलते उन्हें सूचना दी गई। उनके पहुंचने के बाद पुलिस ने कमरे का दरवाजा तोड़ा।

 

दरवाजा खोलने पर छात्र का शव पंखे से लटका मिला। यह देख उसके परिजनों में कोहराम मच गया। चीख पुकार मच गई। पुलिस ने शव को फंदे से नीचे उतारा। इसके बाद शव को कब्जे में लेकर मोर्चरी में रखवा दिया। हालांकि परिजनों ने छात्र का पोस्टमार्टम नहीं कराया।

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पहले सेमेस्टर की परीक्षाएं हो चुकी थीं खत्म
प्राचार्य डॉ. विश्वास कुमार ने बताया कि कॉलेज में करीब 350 छात्र-छात्राएं हैं। जिसमें 17 छात्राएं हैं। पहले सेमेस्टर की परीक्षाएं हो चुकी हैं। जिसके चलते कॉलेज में सिर्फ 15 छात्र ही हॉस्टल में रह रहे थे। बाकी छात्र अपने-अपने घर चले गए थे। हैरानी की बात यह है कि छात्र करीब 24 घंटे तक कॉलेज के हॉस्टल में बंद रहा। उसे देखा भी नहीं गया। लेकिन कॉलेज प्रशासन ने इसे सामान्य बात माना।

 

कॉलेज प्रशासन और छात्रों का कहना है कि निशांत कुमार काफी होशियार छात्र था। वह चंचल और सक्रिय भी था। लेकिन उसने ऐसा कदम क्यों उठाया, इसका अभी पता नहीं चल पाया है। शव के पास से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है। मृतक के पिता अशोक कुमार ने बताया कि उन्होंने गुरुवार रात करीब साढ़े दस बजे अपने एक रिश्तेदार को फोन किया था। लेकिन उसने फोन नहीं उठाया।

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