मेरठ: बिजली के तार या बीड़ी की चिंगारी? चार तेल टैंकरों में लगी भीषण आग, दो घंटे की मशक्कत के बाद पाया काबू, लाखों का नुकसान!

 टीपी नगर क्षेत्र के पूठा गांव के पास हुई घटना, आग लगते ही भागे चालक-परिचालक, 6 दमकल गाड़ियों ने मोर्चा संभाला
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MRT
मेरठ: बुधवार शाम मेरठ के टीपी नगर थाना क्षेत्र के पूठा गांव के पास उस समय अफरा-तफरी और दहशत का माहौल बन गया, जब अचानक खड़े तेल के टैंकरों में भीषण आग लग गई। आग की लपटें और धुएं का गुबार दूर से दिखाई दे रहा था, जिससे आसपास के लोगों में panic फैल गया। इस घटना में तेल से भरे चार टैंकर जलकर खाक हो गए। गनीमत रही कि समय रहते आग पर काबू पा लिया गया और कोई जनहानि नहीं हुई।Read also:-सावधान! कहीं आपका पेट तो नहीं दे रहा खतरे का संकेत? 'गैस्ट्रिक कैंसर' बन रहा साइलेंट किलर, युवा भी चपेट में, जानें इसके छिपे कारण और बचाव के तरीके!

 

कैसे लगी आग? दो अलग-अलग दावे:
तेल के टैंकरों में आग लगने के कारणों को लेकर दो अलग-अलग बातें सामने आ रही हैं:

 

  1. स्थानीय लोगों का दावा (बीड़ी की चिंगारी): पूठा गांव में योगेश चौधरी का एक घेर है, जिसके बाहर 12 से ज़्यादा तेल के टैंकर खड़े रहते हैं। घेर में बने एक कमरे में टैंकरों के चालक और परिचालक आराम करते हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि बुधवार शाम को कुछ चालक-परिचालक यहीं बैठकर बीड़ी पी रहे थे। इसी दौरान बीड़ी से उड़ी एक चिंगारी पास खड़े एक तेल टैंकर पर जा गिरी, जिससे आग लग गई।
  2. सीएफओ का दावा (बिजली के तारों में स्पार्किंग): मुख्य अग्निशमन अधिकारी (सीएफओ) मनु शर्मा के मुताबिक, प्रारंभिक जांच में पता चला है कि टैंकरों के ऊपर से गुज़र रहे बिजली के तारों में अचानक स्पार्किंग हुई। इस स्पार्किंग से निकली चिंगारी तेल के एक टैंकर पर गिरी, जिसने आग पकड़ ली। आग तेज़ी से फैली और एक के बाद एक चार टैंकरों को अपनी चपेट में ले लिया।

 2 घंटे तक चारों टैंकर धू-धूकर जलते रहे।

पुलिस और फायर ब्रिगेड दोनों पहलुओं की जांच कर रहे हैं ताकि आग लगने के सही कारणों का पता लगाया जा सके।

 

आग लगते ही भागे चालक-परिचालक:
जैसे ही टैंकरों में आग लगी और लपटें उठनी शुरू हुईं, मौके पर मौजूद टैंकरों के चालक और परिचालक अपनी जान बचाकर तुरंत वहां से भाग निकले। उनकी इस हरकत से लोगों में और ज़्यादा घबराहट फैल गई। स्थानीय लोगों ने तुरंत पुलिस कंट्रोल रूम और फायर ब्रिगेड को सूचना दी।

 टैंकरों में आग लगी तो लोग जहां के तहां खड़े हो गए।

दमकल की 6 गाड़ियों ने पाया काबू:
सूचना मिलते ही पुलिस और दमकल विभाग की टीमें तत्काल मौके के लिए रवाना हो गईं। आरआरएफ (रैपिड एक्शन फोर्स) की 108 बटालियन की तीन फायर गाड़ियां सबसे पहले घटनास्थल पर पहुंचीं। उनके बाद फायर ब्रिगेड की तीन और गाड़ियां भी मौके पर आ गईं। कुल मिलाकर 6 फायर टैंकरों ने आग बुझाने का मोर्चा संभाला। दमकलकर्मियों ने कड़ी मशक्कत करते हुए लगभग दो घंटे में आग पर पूरी तरह से काबू पा लिया। हालांकि, तब तक चार तेल के टैंकर पूरी तरह जल चुके थे।

 

कोई जनहानि नहीं, लेकिन लाखों का नुकसान:
एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने बताया कि आग लगने की सूचना मिलते ही पुलिस टीम तुरंत मौके पर पहुँच गई थी और राहत व बचाव कार्य में सहयोग किया। उन्होंने पुष्टि की कि इस घटना में कोई जनहानि नहीं हुई है, जो एक बड़ी राहत की बात है। सीएफओ मनु शर्मा ने भी किसी के हताहत न होने की बात कही, लेकिन बताया कि आग लगने से चार तेल टैंकरों को भारी नुकसान हुआ है। लाखों रुपये के नुकसान का अनुमान लगाया जा रहा है।

 OMEGA

फिलहाल, पुलिस और दमकल विभाग आग लगने के सही कारणों की जांच कर रहे हैं। यह घटना एक बार फिर सुरक्षा उपायों पर सवाल खड़े करती है, खासकर ज्वलनशील पदार्थ ले जाने वाले टैंकरों के रखरखाव और पार्किंग को लेकर।
SONU

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