मेरठ में बागेश्वर धाम कथा: कल से रूट डायवर्जन, जानें यातायात प्लान
जागृति विहार एक्सटेंशन में कल से शुरू हो रही कथा के लिए यातायात पुलिस ने जारी किया विस्तृत रूट डायवर्जन प्लान, भारी वाहनों का प्रवेश रहेगा बंद।
Mar 24, 2025, 12:26 IST
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मेरठ: बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की बहुप्रतीक्षित ‘हनुमंत कथा’ का आयोजन कल, मंगलवार 25 मार्च 2025 से मेरठ के जागृति विहार एक्सटेंशन में शुरू होने जा रहा है। इस भव्य धार्मिक आयोजन में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ने की संभावना को देखते हुए, मेरठ यातायात पुलिस ने एक विस्तृत रूट डायवर्जन प्लान जारी किया है। यह प्लान कथा के दौरान यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाए रखने और श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की असुविधा से बचाने के उद्देश्य से लागू किया जाएगा।Read also;-'पापा, प्लीज हमें मत मारो': सहारनपुर में बेरहम पिता ने तीन मासूम बच्चों को गोलियों से भूना
यातायात डायवर्जन का समय और भारी वाहनों पर प्रतिबंध:
यातायात पुलिस द्वारा जारी किए गए प्लान के अनुसार, रूट डायवर्जन प्रतिदिन सुबह 9:00 बजे से कथा समाप्ति तक प्रभावी रहेगा। इस अवधि के दौरान, शहर में भारी वाहनों का प्रवेश पूरी तरह से प्रतिबंधित रहेगा। यह निर्णय इसलिए लिया गया है ताकि संकरी सड़कों पर जाम की स्थिति से बचा जा सके और श्रद्धालुओं के वाहनों का आवागमन आसानी से हो सके।
श्रद्धालुओं के लिए पार्किंग व्यवस्था:
कथा स्थल के आसपास श्रद्धालुओं के वाहनों को पार्क करने के लिए विशेष पार्किंग स्थलों की व्यवस्था की गई है। यातायात पुलिस ने श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे निर्धारित पार्किंग स्थलों पर ही अपने वाहन पार्क करें ताकि अव्यवस्था से बचा जा सके।
कथा स्थल तक पहुंचने के लिए श्रद्धालुओं के लिए निर्धारित मार्ग:
मेरठ यातायात पुलिस ने श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए पांच अलग-अलग मार्गों का निर्धारण किया है, जिनका उपयोग करके वे आसानी से कथा स्थल तक पहुंच सकते हैं:
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दिल्ली और गाजियाबाद से आने वाले श्रद्धालु: जो श्रद्धालु दिल्ली या गाजियाबाद की ओर से आ रहे हैं, वे दिल्ली रोड से होते हुए शाप्रिक्स मॉल चौराहा तक पहुंचें। वहां से बिजली बंबा पुलिस चौकी के सामने से लोहियानगर की ओर मुड़ें और सेंट फ्रांसिस स्कूल तक सीधे जाएं। सेंट फ्रांसिस स्कूल से बाएं मुड़कर गुर्जर चौक (ग्राम काजीपुर) की ओर जाएं और फिर दाहिने मुड़कर पार्किंग नंबर 3, 4 और 5 पर अपने वाहन पार्क कर सकते हैं।
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हापुड़ और बुलंदशहर से आने वाले श्रद्धालु: हापुड़ और बुलंदशहर की ओर से आने वाले श्रद्धालु हापुड़ बाईपास पर स्थित रायल पैलेस के सामने वाले कट से दाहिने ओर मुड़ें। इसके बाद उधम सिंह चौक और रायल पैलेस होते हुए लोहियानगर सब्जी मंडी कट से दाहिने मुड़कर गुर्जर चौक और फिर शिव मंदिर पुलिया होते हुए कथा स्थल तक पहुंच सकते हैं। वे अपने वाहन पार्किंग नंबर 3, 4 और 5 पर पार्क कर सकेंगे। इसके अतिरिक्त, वे 44वीं वाहिनी पीएसी से दाहिने मुड़कर जुबैदा मस्जिद के बराबर से होकर गुर्जर चौक और शिव मंदिर पुलिया होते हुए भी पार्किंग स्थलों तक पहुंच सकते हैं।
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मुरादाबाद और गढ़मुक्तेश्वर से किठौर की ओर से आने वाले श्रद्धालु: मुरादाबाद या गढ़मुक्तेश्वर की ओर से किठौर होते हुए आने वाले श्रद्धालु काली नदी को पार करने के बाद रिंग रोड कट से बाएं ओर मुड़कर सीधे पार्किंग नंबर छह तक जा सकेंगे। एक अन्य विकल्प के तौर पर, वे रिंग रोड कट से सीधे सराय कट और फिर एक्सटेंशन पुलिया होते हुए भी पार्किंग नंबर छह तक पहुंच सकते हैं।
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सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, शामली, बागपत और हरिद्वार से आने वाले श्रद्धालु: इन क्षेत्रों से आने वाले श्रद्धालु तेजगढ़ी चौराहा से सीधे आनंद हॉस्पिटल के सामने से होते हुए हीना रोड कट की ओर जाएं। वहां से कीर्ति पैलेस पुलिया तक सीधे जाएं और फिर बाएं मुड़कर काजीपुर गोलचक्कर से होते हुए पार्किंग नंबर-2 तक पहुंच सकेंगे।
भारी वाहनों के लिए विशेष निर्देश:
यातायात पुलिस ने भारी वाहनों के चालकों के लिए भी विशेष निर्देश जारी किए हैं:
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किठौर की ओर से आने वाले किसी भी भारी वाहन को काली नदी पुल की ओर जाने की अनुमति नहीं होगी।
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हापुड़ से मोदीनगर और गाजियाबाद की ओर जाने वाले भारी वाहन खरखौदा तिराहा से मोहिउद्दीनपुर-खरखौदा मार्ग का उपयोग करके अपने गंतव्य तक पहुंच सकेंगे।
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शाप्रिक्स मॉल की तरफ से आने वाले किसी भी भारी वाहन को बिजली बंबा की तरफ जाने की अनुमति नहीं होगी। ऐसे वाहनों को परतापुर इंटरचेंज से सीधे मोहिउद्दीनपुर-खरखौदा मार्ग का इस्तेमाल करना होगा।
मेरठ के एसपी यातायात राघवेन्द्र मिश्र ने इस संबंध में विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए कथा स्थल तक पहुंचने वाले प्रत्येक मार्ग पर दिशा सूचक लगाए जाएंगे। उन्होंने सभी श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे यातायात नियमों का पालन करें और धैर्य बनाए रखें ताकि यह धार्मिक आयोजन शांतिपूर्वक संपन्न हो सके।