बिजनौर: छह महीने बाद हुआ डबल मर्डर का खुलासा, हिस्ट्रीशीटर और पत्नी की हत्या में दंपती गिरफ्तार

मुख्य आरोपित मुठभेड़ में घायल, दो फरार; ₹2 लाख के लेनदेन और मुखबिरी के शक में की गई हत्या
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NAHETAUR
बिजनौर: नहटौर थाना क्षेत्र की गांगन नदी में छह महीने पहले मिले एक हिस्ट्रीशीटर और उसकी पत्नी के शवों के मामले में पुलिस ने राजफाश करते हुए अमरोहा निवासी एक दंपती को गिरफ्तार किया है। इस दौरान मुख्य आरोपित पुलिस मुठभेड़ में पैर में गोली लगने से घायल हो गया। हत्याकांड में शामिल दो अन्य आरोपित अभी फरार हैं, जिनकी तलाश की जा रही है। पुलिस के अनुसार, दो लाख रुपये वापस न करने और मुखबिरी के शक में दंपती की हत्या की गई थी।READ ALSO:-मेरठ: नाबालिग से दुष्कर्म का वांछित आरोपी सालिक सलाखों पीछे, पुलिस ने घर से दबोचा

 

घटना का खुलासा करते हुए पुलिस ने बताया कि गत 9 अक्टूबर 2024 को नहटौर थाना क्षेत्र की गांगन नदी में एक पुरुष और एक महिला के शव मिले थे। बाद में, जिला मुजफ्फरनगर के थाना भोपा के भोकरहेडी गांव निवासी पूनम ने शवों की पहचान अपने पिता सोमपाल उर्फ चंद्रभान (50 वर्ष) और मां बेबी के रूप में की थी। सोमपाल भोपा थाने का हिस्ट्रीशीटर था।

 

मृतक की बेटी पूनम ने इस मामले में हल्दौर थाने में राजवीर के खिलाफ अपहरण और हत्या का मुकदमा दर्ज कराया था। आरोपित की पहचान अमरोहा के हसनपुर थाना क्षेत्र के बामनखेडी गांव निवासी राजवीर उर्फ चंद्रभान उर्फ भाने पुत्र सहीराम उर्फ डालचन्द उर्फ मूलचंद के रूप में हुई थी। पुलिस तभी से उसकी तलाश कर रही थी।

 


गुरुवार रात पुलिस और स्वाट टीम को सूचना मिली कि आरोपित राजवीर हल्दौर इलाके के बालकिशन चौराहे के पास टाटा सूमो गाड़ी में है। पुलिस ने घेराबंदी की, जिस पर आरोपित ने फायरिंग कर दी। जवाबी कार्रवाई में राजवीर के पैर में गोली लगी और उसे गिरफ्तार कर लिया गया। मुठभेड़ के बाद पूछताछ में राजवीर ने घटना में अपनी पत्नी नीमा की संलिप्तता बताई, जिसके बाद पुलिस ने उसे भी दबोच लिया। आरोपित के पास से एक तमंचा बरामद हुआ है।

 

इस हत्याकांड में राजवीर का दामाद जीवा (पुत्र ओमप्रकाश निवासी गांव बल्ला शेरपुर थाना नहटौर) और रिश्तेदार सोनू (पुत्र सुनील निवासी गांव भोगपुर जिला मुरादाबाद) फरार हैं। गिरफ्तार राजवीर पर छह से अधिक आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं। पुलिस के अनुसार, मृतक और आरोपित दोनों ही बाबरिया जाति से जुड़े हैं। इस टीम में स्वाट प्रभारी सचिन मलिक, मीर हसन, विकास कुमार, विशाल चिकारा सहित अन्य पुलिसकर्मी शामिल रहे।

 

हत्या का कारण: ₹2 लाख का लेनदेन और मुखबिरी का शक
एएसपी सिटी संजीव बाजपेयी ने बताया कि मृतक सोमपाल उर्फ सोमे और आरोपित राजवीर पहले साथ में चोरी करते थे। राजवीर की कोतवाली देहात के एक गांव निवासी अशोक नाम के व्यक्ति से पुरानी दुश्मनी थी। राजवीर ने अशोक की हत्या करने के लिए सोमपाल को दो लाख रुपये एडवांस दिए थे, लेकिन सोमपाल ने न तो हत्या की और न ही पैसे वापस लौटाए। चोरी के सामान के बंटवारे को लेकर भी दोनों में विवाद था।

 

इसके अलावा, राजवीर को यह भी शक था कि सोमपाल और उसकी पत्नी बेबी मेरठ पुलिस को चोरी के मामलों में उसकी मुखबिरी कर रहे हैं। इसी बात से नाराज होकर राजवीर ने अपनी पत्नी नीमा, दामाद जीवा और रिश्तेदार सोनू के साथ मिलकर सोमपाल और बेबी की हत्या की योजना बनाई।

 OMEGA

पुलिस पूछताछ में राजवीर ने बताया कि वे दंपती को नहटौर में दवाई दिलवाने के बहाने टाटा सूमो गाड़ी में हल्दौर क्षेत्र में ले आए। रास्ते में उन्होंने नहटौर कस्बे से शराब खरीदी और उसमें नशे की गोलियां मिला दीं। गांगन नदी के किनारे पहुंचकर उन्होंने सोमपाल और बेबी को यह नशीली शराब और कोल्ड ड्रिंक पिलाई। जब वे बेहोश हो गए, तो चारों ने मिलकर उन्हें गांगन नदी में डुबोकर मार दिया।

 

गिरफ्तार दंपती राजवीर और नीमा को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया है। फरार आरोपितों की तलाश जारी है।
SONU

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